Monday, December 19, 2011

बड़े भाग्य मानुष तन पावा



हे भाई ! यह मनुष्य शरीर हमें और तुम्हे बड़े भाग्य से मिला है, यह देवताओ को भी दुर्लभ है , इसको पाकर अपने परलोक को सुधारना चाहिए, परलोक के लिए भजन की कमाई करनी चाहिए, भजन की कमाई ही ऐसी कमाई है जो जीव के साथ जाती है, बाकि स्त्री पुरुष धन मकान राज्य आदि सब यही पर रह जाते है